उत्तर प्रदेश में विकास कार्यों को गति देने का प्रयास
लखनऊ, 17 दिसंबर। उत्तर प्रदेश सरकार ने वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए 17,865.72 करोड़ रुपए का द्वितीय अनुपूरक बजट विधानसभा में पेश किया। वित्त मंत्री सुरेश खन्ना ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की उपस्थिति में यह बजट प्रस्तुत किया। इस अनुपूरक बजट का उद्देश्य राज्य में बाधारहित विकास को जारी रखना और विभिन्न विभागों की आवश्यकताओं को पूरा करना है।
अनुपूरक बजट का विवरण
यह योगी सरकार का इस वित्तीय वर्ष का दूसरा अनुपूरक बजट है, जो 7,36,437.71 करोड़ रुपए के मूल बजट का 2.42 प्रतिशत है। इससे पहले जुलाई 2024 में पहला अनुपूरक बजट 12,209.93 करोड़ रुपए का पेश किया गया था। अब दोनों अनुपूरक बजट और मूल बजट को मिलाकर कुल बजट 7,66,513.36 करोड़ रुपए हो गया है।
790.49 करोड़ के नए प्रस्ताव शामिल
द्वितीय अनुपूरक बजट में 790.49 करोड़ रुपए के नए प्रस्ताव शामिल किए गए हैं। साथ ही 422.56 करोड़ रुपए की राशि केंद्र सरकार की योजनाओं के लिए अनुमानित है। वित्त मंत्री ने बताया कि यह बजट आकस्मिक खर्चों और केंद्रीय योजनाओं के लिए आवंटित राशि की पूर्ति करेगा।
मुख्य विभागों को आवंटित राशि
अनुपूरक बजट में विभिन्न विभागों की आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए राशि आवंटित की गई है। इनमें प्रमुख आवंटन निम्नलिखित है:
- ऊर्जा विभाग: 8587.27 करोड़ रुपए
- वित्त विभाग: 2438.63 करोड़ रुपए
- परिवार कल्याण विभाग: 1592.28 करोड़ रुपए
- पशुधन विभाग: 1001 करोड़ रुपए
- लोक निर्माण विभाग (PWD): 805 करोड़ रुपए
- प्राथमिक शिक्षा विभाग: 515 करोड़ रुपए
- सूचना विभाग: 505 करोड़ रुपए
- पंचायती राज विभाग: 454.01 करोड़ रुपए
- चिकित्सा शिक्षा एवं प्रशिक्षण विभाग: 354.54 करोड़ रुपए
30 जुलाई को पेश हुआ था पहला अनुपूरक बजट
इससे पहले योगी सरकार ने फरवरी 2024 में 7.36 लाख करोड़ रुपए का मूल बजट पेश किया था। इसके बाद 30 जुलाई 2024 को 12,209.93 करोड़ रुपए का पहला अनुपूरक बजट प्रस्तुत किया गया। पांच महीने के भीतर यह दूसरा अनुपूरक बजट सरकार ने कैबिनेट की स्वीकृति के बाद पेश किया।
अनुपूरक बजट क्यों आवश्यक होता है?
अनुपूरक बजट सरकार द्वारा वित्त वर्ष के दौरान अतिरिक्त खर्च की आवश्यकता होने पर प्रस्तुत किया जाता है। यह उन खर्चों को कवर करता है, जिनका अनुमान मूल बजट में नहीं था या जो नई परिस्थितियों के कारण जरूरी हो जाते हैं। यह बजट विशेषत: केंद्रीय योजनाओं, आकस्मिक आवश्यकताओं और विकास कार्यों के लिए आवंटित किया जाता है।
योगी सरकार का उद्देश्य
वित्त मंत्री ने सदन में कहा कि योगी सरकार विकास को प्राथमिकता देने वाली सरकार है। आवश्यकता पड़ने पर संवैधानिक प्रक्रिया के तहत सदन में अनुपूरक बजट प्रस्तुत करना विकास कार्यों को सुनिश्चित करने के लिए जरूरी है। इस बजट के जरिए सरकार ने यह संदेश दिया है कि प्रदेश का विकास सर्वोच्च प्राथमिकता पर है।