मेला में माटी के खिलौने, कुल्हड, थाली, गिलास, दीया मूर्तियों के 20 स्टाल लगाये गये है
वाराणसी। उ०प्र० माटीकला बोर्ड द्वारा "माटीकला मेला-2024" का आयोजन चौकाघाट स्थित सांस्कृतिक संकुल परिसर के अर्बन हॉट में 24 से 30 नवंबर तक किया जा रहा है। जिसका उद्घाटन गुरुवार को मुख्य अतिथि एमएलसी धर्मेन्द्र राय ने फीता काट कर किया। इस अवसर पर मौजूद लोगों को संबोधित करते हुए एमएलसी धर्मेंद्र राय ने कहा कि दीपावली के पावन पर्व से पूर्व आयोजित यह मेला निश्चित रूप से मिट्टी का काम करने वाले कुम्हारो को नई ऊर्जा देगा। उनके बनाए गए मिट्टी का दीया आदि सामग्री की बिक्री मेला में होगी, जिससे उनकी आय में वृद्धि होगी।
एमएलसी धर्मेंद्र राय ने कहा कि माटीकला मेला का मुख्य उद्देश्य मिट्टी का कार्य करने वाले कारीगरों एवं शिल्पियों के व्यवसाय में वृद्धि करने, कलाकारों की परम्परागत कला को संरक्षित उनकी समाजिक सुरक्षा, अर्थिक सुदृढ़ता एवं तकनीकी विकास को बढ़ावा देने व विपणन आदि की सुविधा उपलब्ध कराने तथा अधिक से अधिक लोगों को रोजगार का अवसर उपलब्ध कराने एवं प्रोत्साहित किया जाना है।माटीकला मेला में कुल 20 स्टाल लगा है। जिसमें जनपद वाराणसी के अतिरिक्त चन्दौली, गाजीपुर, गोरखपुर, चुनार, मिर्जापुर के माटीकला करीगरों के द्वारा अपने उत्पादों जैसे माटी के खिलौने, कुल्हड, थाली, गिलास, दीया मूर्तियों के स्टाल लगाये गये है।
कार्यक्रम में विशिष्ट अतिथि उमेश कुमार सिंह सयुक्त आयुक्त (उद्योग), एस०पी० खण्डेलवाल निदेशक, खादी एवं ग्रामोद्योग आयोग, मोहन शर्मा, उपायुक्त उद्योग, अरूण कुमार कुरील, सहायक निदेशक हथकरघा एवं गिरजा प्रसाद जिला ग्रामोद्योग अधिकारी, नागेन्द्र प्रसाद सिंह, रघुनाथ चौधरी, संजय, अमन जायसवाल आदि लोग उपस्थित रहे।