विश्वविद्यालय की नैक तैयारी के मद्देनजर महामहिम राज्यपाल एवं कुलाधिपति के विशेष कार्याधिकारी ने की समीक्षा बैठक
वाराणसी – (काशीवार्ता) – महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ, वाराणसी में सोमवार को विश्वविद्यालय की नैक (राष्ट्रीय मूल्यांकन एवं प्रत्यायन परिषद) तैयारियों की समीक्षा बैठक का आयोजन किया गया। इस बैठक का नेतृत्व महामहिम राज्यपाल एवं कुलाधिपति आनंदीबेन पटेल के विशेष कार्याधिकारी डॉ. पंकज एल जानी ने किया। यह बैठक डॉ. भगवानदास केन्द्रीय पुस्तकालय के समिति कक्ष में आयोजित की गई, जिसमें नैक की तैयारियों पर विस्तार से चर्चा की गई।
बैठक के दौरान डॉ. पंकज एल जानी ने काशी विद्यापीठ के उज्ज्वल भविष्य के लिए नैक मूल्यांकन में ए++ ग्रेड हासिल करने की आवश्यकता पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय को इस उच्च ग्रेड के लिए टीम वर्क की भावना से काम करना होगा। इसके लिए विश्वविद्यालय की कमियों को दूर करना और स्वच्छता पर विशेष ध्यान देना आवश्यक है।
विशेष कार्याधिकारी ने विश्वविद्यालय की वर्तमान स्थिति और तैयारियों की समीक्षा करते हुए कहा कि नैक ग्रेडिंग से ही विश्वविद्यालय का भविष्य तय होगा। इस दिशा में हमें सामूहिक प्रयास करना होगा और अपनी कमजोरियों को पहचानते हुए उन्हें सुधारने पर ध्यान देना होगा। उन्होंने कहा कि काशी विद्यापीठ को ए++ ग्रेड दिलाना विश्वविद्यालय की गरिमा और प्रतिष्ठा को और अधिक ऊंचा उठाएगा।
डॉ. जानी ने राज्यपाल आनंदीबेन पटेल की भी प्रशंसा करते हुए कहा कि वह विश्वविद्यालय की नैक ग्रेडिंग के लिए लगातार प्रयासरत हैं और उनका मार्गदर्शन हमेशा प्रेरणादायक रहा है। उन्होंने कहा, “यह नैक मूल्यांकन का अंतिम चरण है और इस बार हमें बेहतरीन ग्रेडिंग हासिल करनी होगी। इससे न केवल विश्वविद्यालय की प्रतिष्ठा बढ़ेगी, बल्कि उत्तर प्रदेश भी देश में सबसे अधिक नैक ए++ ग्रेडिंग प्राप्त करने वाला राज्य बन सकेगा।”
समीक्षा बैठक में काशी विद्यापीठ के कुलपति प्रो. आनन्द कुमार त्यागी, कुलसचिव डॉ. सुनीता पांडेय, विश्वविद्यालय के रैंकिंग एवं एक्रिडिटेशन सेल के निदेशक प्रो. मो. आरिफ, कुलानुशासक प्रो. के.के. सिंह, सभी संकायाध्यक्ष, निदेशक, विभागाध्यक्ष और अन्य वरिष्ठ अधिकारियों ने भाग लिया। बैठक के दौरान सभी ने विश्वविद्यालय के नैक ग्रेडिंग को सुधारने के लिए सुझाव दिए और इसे सफल बनाने के लिए अपने विचार साझा किए।
बैठक के अंत में, डॉ. जानी ने विश्वविद्यालय की टीम को निर्देश दिया कि वे नैक मूल्यांकन की तैयारियों को पूरी गंभीरता से लें और एक संगठित और समर्पित प्रयास करें, ताकि काशी विद्यापीठ को देश के अग्रणी विश्वविद्यालयों में स्थान दिलाया जा सके।