लखनऊ, 16 दिसंबर: उत्तर प्रदेश विधानसभा के शीतकालीन सत्र में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सांप्रदायिक दंगों और कानून-व्यवस्था पर अपनी सरकार का पक्ष रखते हुए विपक्ष पर जमकर निशाना साधा। उन्होंने राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) के आंकड़ों का हवाला देते हुए कहा कि 2017 से अब तक प्रदेश में सांप्रदायिक दंगों में 97-99% तक की कमी आई है। उन्होंने कहा, “2017 के बाद से यूपी में कोई बड़ा सांप्रदायिक दंगा नहीं हुआ, जबकि 2012-2017 (सपा कार्यकाल) में 815 सांप्रदायिक दंगे हुए, जिनमें 192 लोगों की मौत हुई। 2007-2011 के बीच 616 घटनाएं हुईं, जिनमें 121 लोगों की जान गई।”
संभल में 1947 से बिगड़ा माहौल
मुख्यमंत्री ने संभल की ऐतिहासिक घटनाओं का जिक्र करते हुए बताया कि 1947 से लेकर अब तक 209 हिंदुओं की हत्या की गई है। उन्होंने कहा कि 1978 में 184 हिंदुओं को सामूहिक रूप से जला दिया गया और कई महीनों तक कर्फ्यू लगा रहा। 1980, 1986, 1990 और 1996 में भी दंगे हुए और कई निर्दोष मारे गए। उन्होंने कहा कि 1978 में एक वैश्य परिवार को घेरकर क्रूरता से मारा गया, लेकिन किसी ने उनके लिए आवाज नहीं उठाई।
जुमे की नमाज के दौरान बिगड़ा माहौल
सीएम योगी ने बताया कि संभल में हाल ही में कोर्ट के निर्देश पर सर्वे का काम चल रहा था। 19, 21 और 24 नवंबर को सर्वे शांतिपूर्ण रहा, लेकिन 23 नवंबर को जुमे की नमाज के दौरान कुछ भड़काऊ तकरीरों ने माहौल बिगाड़ दिया। उन्होंने कहा, “हमारी सरकार ने पहले ही स्पष्ट किया है कि पत्थरबाजी और माहौल खराब करने वालों को बख्शा नहीं जाएगा।”
सपा और विपक्ष पर निशाना
मुख्यमंत्री ने सपा पर तीखा हमला करते हुए कहा कि 2012-2017 के कार्यकाल में दंगे चरम पर थे। उन्होंने विपक्ष पर तथ्यों को छिपाने और जनता को गुमराह करने का आरोप लगाया। सीएम ने कहा, “तथ्य छिपाने से सत्य नहीं बदलेगा। सूर्य, चंद्रमा और सत्य को देर तक छिपाया नहीं जा सकता।”
जयश्रीराम पर प्रतिक्रिया
मुख्यमंत्री ने कहा कि “जयश्रीराम” सांप्रदायिक संबोधन नहीं है। यह हमारे धार्मिक और सांस्कृतिक मूल्यों का हिस्सा है। उन्होंने कहा कि राम के बिना भारत की पहचान अधूरी है और जो लोग इससे उत्तेजित होते हैं, उनकी नीयत पर सवाल खड़ा होता है।
बजरंगबली मंदिर और सौहार्द पर टिप्पणी
मुख्यमंत्री ने 1978 में बजरंगबली मंदिर को बंद कराने और 22 कुओं को ढकने की घटनाओं का जिक्र करते हुए कहा कि “सौहार्द बिगाड़ने वालों में से एक भी नहीं बचेगा।” उन्होंने कहा कि ऐसे लोगों ने न सिर्फ धार्मिक स्थलों को नुकसान पहुंचाया, बल्कि समाज में तनाव का माहौल भी बनाया।
मुख्यमंत्री ने सदन में स्पष्ट किया कि उनकी सरकार कानून-व्यवस्था बनाए रखने और सांप्रदायिक सौहार्द कायम रखने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा, “हमारी सरकार सत्य और न्याय के साथ खड़ी है। दोषियों को किसी भी कीमत पर छोड़ा नहीं जाएगा।”